आज भारत की जो हालात हो गर्इ है उसका जिम्मेदार कौन है केवल कांग्रेस सरकार नहीं पूरा शासक वर्ग क्याेंकि शासक वर्ग नहीं चाहता है कि इस देश का मूलनिवासी भी जीवित रहे हैै। और उनके साथ आकर इस देश को सवारने में अपना सहयोग दे वह तो केवल यहीं चाहता है कि इस देश का मूलनिवासी केवल हमारे लिए वोट दे और 5 साल तक अपने एक-एक कर मरने की रह देखे। इसलिए घोटाले पर घोटाले करते रहते है। फिर भी इस देश के शासक वर्ग अपनी झूठे विकास आज से नहीं 65 साल से गिनाते आ रहे है और इसकी नतीजा है आज भी दिख रहा है इस देश का 85 प्रतिशत मूलनिवासी भूखों मर रहा है और इस देश का शासक वर्ग घोटाले पर घोटाले कर रहे है। इतना ही नहीं अब जब इन लोगों से इस देश को नहीं लूटा जा रहा है तो वे अपने विदेशी भार्इयों का एफडीआर्इ, सेज आदि को इस देश में इस देश के मूलनिवासियों को लूटने के लिए बुला रहे है। अगर इस देश का अगर 85 प्रतिशत मूलनिवासी अगर एक जुट नहीं होगे तो इस देश को ये ब्राह्राणवादी लोग लूट कर खा जायेगें। इसलिए अभी समय है और अभी से जागो और इस देश इस देश का शासक वर्ग को सब सिखाआें नहीं बहुत देर हो जायेगी तो वहीं हाल होगा (अब पछताये का होर्इ, जब चिडि़या चुंग गर्इ खेत) तब पछताने कुछ नहीं होने वाला है। इसलिए आप सभी 85 प्रतिशत मूलनिवासियों को भारत मुकित मोर्चा का साथ देना चाहिए। जो इस देश में राष्ट्रव्यापी जन-आन्दोलन चला रहा है। बस हमारे पास यहीं एक विल्कप है। जो हमें और हमारे देश को इन ब्राह्राणवादियाें से बचा सकता है।नहीं ऐसे ही ये लोग घोटाले पर घोटाले करते रहेगें और झूठे विकास को गिनाते रहेगें जैसा कि मनमोहन सिंह ने अपने प्रधानतंत्री बने होने के 9 साल पर गिनाया हैं - जय मूलनिवासी
UPA के 9 साल, दिन में कामयाबी रिपोर्ट तो रात में जश्न के लिए डिनर पार्टी
आज तक ब्यूरो
| नई दिल्ली, 22 मई 2013 | अपडेटेड: 09:26 IST
मनमोहन सरकार ने बुधवार को 9 साल पूरे कर लिए है. यूपीए 2 की चौथी और
यूपीए सरकार की नौवीं सालगिरह पर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कांग्रेस
अध्यक्ष सोनिया गांधी सरकार की कामयाबी का रिपोर्ट कार्ड पेश करने वाले हैं
लेकिन बड़ा सवाल ये है सरकार की कामयाबी की फेहरिस्त में आखिर होगा क्या?
9 साल पहले साल 2004 में 22 मई यानी आज ही की वो तारीख थी जब मनमोहन सिंह
ने पहली बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली थी. और 4 साल पहले यानी साल 2009
में भी यही वो मुबारक तारीख थी जब मनमोहन सिंह के सिर दूसरी बार पीएम बनने
का ताज सजा था.
आज यूपीए सरकार के लिए जश्न का दिन है. सत्ता में बने रहने की नौवीं वर्षगांठ पर कामयाबी के कसीदे पढ़ने का दिन है. इसकी जोरदार तैयारी भी है, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी यूपीए-2 के 4 साल और यूपीए सरकार के 9 साल पूरे होने के खास मौके पर सफलताओं का रिपोर्ट कार्ड पेश करेंगी. दिन में कामयाबी का ढिंढोरा पीटने के बाद शाम में सोनिया गांधी यूपीए सरकार के सहयोगी दलों को भोज भी देंगी.
वैसे तो प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इतिहास बनाया है. गैर गांधी-नेहरु परिवार से इतने लंबे अरसे तक देश के पीएम रहने वाले वो महान हस्ती बन गए हैं लेकिन बतौर पीएम उनकी कामयाबियों की फेहरिस्त में है क्या? आईये उसपर भी एक नजर डालते हैं:
9 साल की 9 नाकामियां
1. 2जी घोटाला
2. कॉमनवेल्थ गेम्स घोटाला
3. कोयला घोटाला
4. वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाला
5. रेल घूस कांड
6. सीबीआई-कानून मंत्री कांड
7. आईपीएल - शशि थरुर कांड
8. कैश फॉर वोट घूस कांड
9. मनरेगा घोटाला
यूपीए-1 और यूपीए-2 के कार्यकाल में मनमोहन सरकार के घोटालों और नाकामियों की फेहरिस्त इतनी लंबी है कि गिनने की हिम्मत नहीं पड़ती. मनमोहन सरकार के 9 साल में भ्रष्टाचार ने दम निकाला, तो महंगाई ने मार ही डाला, और तो और अर्थशास्त्री पीएम के राज में मंदी ऐसे कुंडली मारकर बैठी है कि 2013 में ही मनमोहन सरकार की 13वीं निकालने पर आमादा है.
लेकिन कांग्रेस और मनमोहन सरकार को ऐसा नहीं लगता. बताया जा रहा है कि सरकार की 9 साल की कामयाबियों का ढिंढोरा पीटने के लिए भी अच्छी खासी लिस्ट तैयार है.
1. डायरेक्ट कैश ट्रांसफर स्कीम
2. रिटेल में एफडीआई
3. मनरेगा स्कीम का विस्तार
4. मुफ्त शिक्षा का अधिकार
5. लोकपाल बिल
6. भूमि अधिग्रहण बिल
7. खाद्य सुरक्षा बिल
इन तमाम आधी अधूरी बिलों और स्कीमों को मनमोहन सरकार अपनी जबरदस्त कामयाबी की फेहरिस्त में रखकर फूले नहीं समा रही है और यकीन जान लीजिए आज से लेकर 2014 की चुनावी महाजंग तक सरकार इन्हीं के दम पर भारत निर्माण का ढिंढोरा पीटती नजर आएगी. आपको रास आए या न आए.
यूपीए 2 के चार साल के कार्यकाल के बारे में आप क्या सोचते हैं? नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स में अपने विचार लिखकर हमें बताएं. चुनिंदा कमेंट से हम बनाएंगे यूपीए-2 के 4 साल होने पर जनता का रिपोर्ट कार्ड.
आज यूपीए सरकार के लिए जश्न का दिन है. सत्ता में बने रहने की नौवीं वर्षगांठ पर कामयाबी के कसीदे पढ़ने का दिन है. इसकी जोरदार तैयारी भी है, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी यूपीए-2 के 4 साल और यूपीए सरकार के 9 साल पूरे होने के खास मौके पर सफलताओं का रिपोर्ट कार्ड पेश करेंगी. दिन में कामयाबी का ढिंढोरा पीटने के बाद शाम में सोनिया गांधी यूपीए सरकार के सहयोगी दलों को भोज भी देंगी.
वैसे तो प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इतिहास बनाया है. गैर गांधी-नेहरु परिवार से इतने लंबे अरसे तक देश के पीएम रहने वाले वो महान हस्ती बन गए हैं लेकिन बतौर पीएम उनकी कामयाबियों की फेहरिस्त में है क्या? आईये उसपर भी एक नजर डालते हैं:
9 साल की 9 नाकामियां
1. 2जी घोटाला
2. कॉमनवेल्थ गेम्स घोटाला
3. कोयला घोटाला
4. वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाला
5. रेल घूस कांड
6. सीबीआई-कानून मंत्री कांड
7. आईपीएल - शशि थरुर कांड
8. कैश फॉर वोट घूस कांड
9. मनरेगा घोटाला
यूपीए-1 और यूपीए-2 के कार्यकाल में मनमोहन सरकार के घोटालों और नाकामियों की फेहरिस्त इतनी लंबी है कि गिनने की हिम्मत नहीं पड़ती. मनमोहन सरकार के 9 साल में भ्रष्टाचार ने दम निकाला, तो महंगाई ने मार ही डाला, और तो और अर्थशास्त्री पीएम के राज में मंदी ऐसे कुंडली मारकर बैठी है कि 2013 में ही मनमोहन सरकार की 13वीं निकालने पर आमादा है.
लेकिन कांग्रेस और मनमोहन सरकार को ऐसा नहीं लगता. बताया जा रहा है कि सरकार की 9 साल की कामयाबियों का ढिंढोरा पीटने के लिए भी अच्छी खासी लिस्ट तैयार है.
1. डायरेक्ट कैश ट्रांसफर स्कीम
2. रिटेल में एफडीआई
3. मनरेगा स्कीम का विस्तार
4. मुफ्त शिक्षा का अधिकार
5. लोकपाल बिल
6. भूमि अधिग्रहण बिल
7. खाद्य सुरक्षा बिल
इन तमाम आधी अधूरी बिलों और स्कीमों को मनमोहन सरकार अपनी जबरदस्त कामयाबी की फेहरिस्त में रखकर फूले नहीं समा रही है और यकीन जान लीजिए आज से लेकर 2014 की चुनावी महाजंग तक सरकार इन्हीं के दम पर भारत निर्माण का ढिंढोरा पीटती नजर आएगी. आपको रास आए या न आए.
यूपीए 2 के चार साल के कार्यकाल के बारे में आप क्या सोचते हैं? नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स में अपने विचार लिखकर हमें बताएं. चुनिंदा कमेंट से हम बनाएंगे यूपीए-2 के 4 साल होने पर जनता का रिपोर्ट कार्ड.
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